हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।
मां कर दे हमारे पापा का शमन ।।
तू ही है अखिल विश्व माता ।
सारा विष्व तेरे ही गुन गाता ।।
अपने भक्तो का पुत्रवत करते हो जतन ।
हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।।
तू ही सर्वशक्ति का आधार है ।
कोई न पाये तेरा पार है ।।
तेरी ही कृपा से ही है ये सारा चमन ।
तू करती सदा असुरी शक्ति का दमन ।
हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।।
शिव की तुम शिवा हो ।
बिष्णु की तुम रमा हो ।।
ब्रहमा की ब्रहमाणी एकतन ।
हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।।
पहाड़ो में ही तेरा वास है ।
ऐसे भक्तों का विश्वास है ।।
जहां भक्त पहुंचते नाना जतन ।
हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।।
तू तो शेरोवाली हो ।
तू तो मेहरेवाली हो ।।
तुझे रिझाने भक्त करते है कई करम ।
हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।।
न मैं पूजा कर सकता न उपवास ।
मुझे केवल तेरे नाम की है आस ।।
तु तो जानती है हर भक्तो का मरम ।
हे भगवती मां अम्बे तुम्हे नमन ।।
.........‘‘रमेश‘‘...............
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